वाराणसी में शुक्रवार को देव दिवाली मनाई गई। श्रद्धालुओं ने मां गंगा के किनारे 84 घाटों और 700 मठों-मंदिरों में 25 लाख दीये जलाए। 8 घाटों पर करीब 60 मिनट तक ग्रीन पटाखों की आतिशबाजी हुई। इस दौरान आसमान सतरंगी नजर आया। हर-हर महादेव के उद्घोष के साथ लेजर शो ने दीपोत्सव की खूबसूरती और बढ़ा दिया। इससे पहले 21 अर्चकों और 42 रिद्धि-सिद्धि ने मां गंगा की महाआरती की। आरती में रिकॉर्ड 1 लाख लोग शामिल हुए। लोग इस पल को अपने कैमरे में कैद करते नजर आए। दशाश्वमेध, अस्सी घाट पर टूरिस्ट की जबरदस्त भीड़ रही। चलना मुश्किल हो रहा था। देव दिवाली देखने अनुमान के मुताबिक, दुनियाभर से 15 लाख लोग काशी पहुंचे थे।
गंगा सेवा निधि द्वारा देव दीपावली महोत्सव में होने वाली गंगा आरती 21 अर्चको एवं 42 देव कन्याओं द्वारा आध्यात्मिकता और राष्ट्रवाद को संकल्पित व समर्पित रही। साथ ही साथ वर्षों से चली आ रही ‘एक संकल्प गंगा किनारे’ के माध्यम से माँ गंगा को स्वच्छ एवं निर्मल बनाने, पर्यावरण व जल संरक्षण के लिए गंगा सेवा निधि द्वारा देव दीपावली महोत्सव में देश-विदेश से आये हुए लाखों श्रद्धालुओं व पर्यटकों से माँ गंगा के तट पर संकल्प दिलाकर संस्था द्वारा यह आवाह्न किया गया कि माँ गंगा को स्वच्छ और निर्मल बनाये रखने में आप सभी अपना योगदान दें, गंगा सेवा निधि परिवार का माँ गंगा को निर्मल रखने में सहयोग करें।
देव दीपावली महोत्सव मे होने वाली महा आरती में हजारो दीपों से रौशन किया गया एवं 20 फीट ऊँची भव्य अमर जवान ज्योति की अनुकृति श्रद्धालुओ के लिए देश भक्ती कि प्रेरणा दे रही थी तत्पष्चात संस्था के आशीष कुमार तिवारी, ट्रस्टी एवं कोषाध्यक्ष, गंगा सेवा निधि की तरफ से अमर बलिदानों को अमर जवान ज्योती पर रिथलेईंग की गयी 39 जी.टी.सी. के बैंड की धुन के साथ जवानों द्वारा लास्टपोस्ट व गार्ड ऑफ आनर दिया गया व सम्पूर्ण कार्तिक मास आकाश दीप प्रज्जवलित कर अमरवीर योद्धाओं की स्मृति में दीप जलाया गया जिसका समापन देव दीपावली को किया गया,
कार्यक्रम का प्रारम्भ प्राख्यात गायक डॉ0 रेवती साकलकर एवं उनके सहयोगी तबला बादक द्वारा भजन-संगीत एवं राष्ट्र गीत की प्रस्तुति की गई। महोत्सव के मुख्य अतिथि- पीयूश आनंद, आई.पी.एस., महानिदेशक, राष्ट्रीय आपदा मोचन बल, नई दिल्ली।, कार्यक्रम अध्यक्ष- लेफ्टिनेन्ट जनरल आनिन्द्य सेनगुप्ता, उत्तम युद्ध सेवा मेडल, सेवा मेडल, युद्ध सेवा मेडल, जनरल आफिसर कमान्डिग इन चीफ, (आर्मी कमाण्डर) हेड क्वार्टर, सेन्ट्रल कमाण्ड, लखनऊ, लॉरेल गेस्ट- सद्गुरु ऋतेश्वर , श्री आनंदम धाम ट्रस्ट, वृन्दावन आदि उपस्थित रहे तत्पश्चात् गंगा सेवा निधि के अध्यक्ष सुषान्त मिश्र द्वारा लाखों श्रद्धालुओं व अतिथियों के सम्मान में स्वागत भाषण दिया।
गंगा सेवा निधि के 21 अर्चकों द्वारा भगवती माँ गंगा का वैदिक रीति से पूजन किया गया। श्री राम जनम योगी द्वारा 4 मिनट 25 सेकेन्ट के शंखनाद के ध्वनि से दशाश्वमेध घाट का कण-कण मग्नमुग्ध हो गया साथ ही दुर्गा चरण इण्टर कालेज की 42 देव कन्याओं द्वारा रिद्धि-सिद्धि के रूप में ब्राह्मणों के साथ माँ भगवती की आरती सम्पन करायी गयी तथा श्री काशी विश्वनाथ डमरु दल के 10 स्वयं सेवकांे द्वारा माँ भगवती की भव्य महाआरती में सम्मलित हुये एवं हजारों दीपों से घाट व घाटों के भवनों का कोना-कोना जगमगा हो उठा।
भगवती माँ गंगा की आरती के दौरान देश-विदेश आये लाखों श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की दिक्कत न हो इसके लिए सुरक्षा की दृष्टि से संस्था द्वारा 24 सी.सी.टी.वी. कैमरे भी लगाये गये थे। सहयोग की दृष्टि से भारत सेवा श्रम संघ के 100 स्वयं सेवक व सुरक्षा उपकरण के साथ गंगा सेवा निधि के 150 वालेन्टियर्स उपस्थित रहें तथा साथ ही राजकीय चिकित्सालय द्वारा चिकित्सकों की टीम व एम्बुलेन्स की व्यवस्था की भी थी
गंगोत्री सेवा समिति दशाश्वमेध घाट पर देव दीपावली पर जगतगुरु शंकराचार्य स्वामी नरेंद्रानंद सरस्वती जी महाराज ने गंगा माता का पूजन पाठ कर दुग्धाभिषेक किया गया।आए हुए अतिथियों का स्वागत बाबू महाराज ने किया अतिथियों को अंगवस्त्रम व स्मृति चिन्ह प्रदान किया गया इस अवसर पर मुख्य अतिथि स्वामी नरेंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि हिंदू धर्म में देव दिवाली का बहुत महत्व है इस दिन धरती पर आकाश लोक से देवता पृथ्वी की ओर आकर के देखते हैं हम देश में अमन चैन शांति की कामना करते हैं ।
सांस्कृतिक कार्यक्रम के तहत कन्हैया दुबे के नेतृत्व में मां गंगा के अविरल धारा में गंगा मैया के गीत व भजन की विभिन्न कलाकारों ने अपनी अपनी हाजिरी लगाई इस दौरान प्रमुख रूप से कन्हैया त्रिपाठी राजेश शुक्ला सहित गंगोत्री सेवा समिति के पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता उपस्थित रहे देव दिवाली को देखते हुए जिला प्रशासन ने एनडीआरफ ड्रोन कैमरा जल पुलिस की तैनाती जगह-जगह पर किया गया था की घाट पर जो भी व्यक्ति हो उनको गंगा आरती की अद्भुत छटा देखने से वंचित न रह पाए।
जय मां गंगा समिति की ओर से अस्सी घाट पर देव दीपावली के अवसर पर भव्य गंगा आरती का आयोजन किया गया। महादेव की नगरी में देव दीपावली के पर्व को धर्म की नगरी काशी में बेहद ही भव्य और दिव्य तरीके से मनाया जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार देव दीपावली पर स्वर्गलोक से सभी देवता भगवान शिव के साथ उनकी नगरी काशी में दीपावली का पर्व मनाने के लिए पहुंचते है। मां गंगा की तट पर देवता दीप जलाकर भगवान शिव का आराधना करते व कार्तिक पूर्णिमा के दिन काशी में निवास करते है। काशी के 84 से अधिक घाटों, सभी मठ,मंदिरों के साथ सरोवर और घरों में दीप जलाए गए । काशी के प्रसिद्ध अस्सी घाट का नजारा अदभुत रहा यहां काफी संख्या में पर्यटकों की भीड़ देखने को मिली। जय मां गंगा समिति की ओर से बबीता के साथ मां गंगा की आरती संपन्न हुई घाट की सीढ़ियां लाखों दीपों से जगमग रही।