पूर्व आईपीएस और आजाद अधिकार सेना के मुखिया अमिताभ ठाकुर ने यूपी के डीजीपी प्रशांत कुमार को पत्र लिख दिया है।इसमें बृजेश सिंह, धनंजय सिंह और राजा भैया समेत 16 बाहुबलियों के नाम शामिल है। नामों के आगे उन पर दर्ज मुकदमे भी लिखे हैं। आजाद अधिकार सेना के मुखिया ने योगी सरकार पर कार्रवाई न करने का आरोप लगाया है और उन्हें सोशल मीडिया को अवगत कराना है कि निम्न लिस्ट अनवरत प्रसारित हो रही है, जो कथित रूप से उन माफियाओं की बताई जा रही है, जिनकी लंबी क्रिमिनल हिस्ट्री होने के बाद भी उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा मात्र राजनीतिक कारणों से कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है और उनका खुला बचाव किया जा रहा है।
इसमें बृजेश सिंह -106 मुकदमे, धन्नजय सिंह -46 मुकदमे, राजा भईया -31 मुकदमे, डा० उदयभान सिंह -83 मुकदमे, अशोक चन्देल -37 मुकदमे विनीत सिंह-34 मुकदमें, बृजभूषण सिंह-84 मुकदमे, चुलबुल सिंह-53 मुकदमे, सोनू सिंह-57 मुकदमे ,मोनू सिंह-48 मुकदमे, अजय सिंह सिपाही-81 मुकदमे, पिन्टू सिंह-23 मुकदमे, सनी सिंह-48 मुकदमे, संग्राम सिंह-58 मुकदमे, चुन्नू सिंह-42 मुकदमे और बादशाह सिंह-88 मुकदमे। अमिताभ ठाकुर ने कहा कि इस सूची में कई स्पष्ट त्रुटियां दिखीं, जैसे चुलबुल सिंह का वर्ष 2018 में निधन हो गया है फिर भी उनका नाम यहां अंकित है तथा पिंटू सिंह, सनी सिंह जैसे नाम को लेकर पूरी स्पष्टता भी नहीं ह। इसके विपरीत कई नाम स्पष्ट हैं और सामान्य तौर पर ये सभी लोग मौजूदा सरकार में स्पष्ट रूप से पुष्पित पल्लवित होते दिख रहे हैं। जहां एक ओर सरकार और यूपी पुलिस द्वारा लगातार माफियाओं के खिलाफ कार्रवाई के बड़े-बड़े दावे हो रहे हैं, वहीं इतनी लंबी क्रिमिनल हिस्ट्री के बाद भी इन लोगों के विरुद्ध कोई कार्रवाई नहीं किया जाना पुलिस पर गंभीर प्रश्नचिन्ह लगता है। इन तथ्यों के दृष्टिगत मैं आपसे अनुरोध करता हूं कि कृपया यह स्पष्ट करने की कृपा करें कि किन स्थितियों में क्राइम और क्रिमिनल्स के प्रति जीरो टॉलरेंस का दावा करने के बाद भी इन व्यक्तियों के विरुद्ध कोई कार्रवाई नहीं की जा रही दिखती है। इस संबंध में मुझे 15 दिनों में आपका कोई उत्तर प्राप्त नहीं होता है तो मैं आपको इस संबंध में निरंतर मानते हुए इस प्रकरण को सक्षम फोरम पर ले जाने को बाध्य होऊंगा।