महाकुंभ महोत्सव के अंतिम पर्व महाशिवरात्रि से पहले भोले की नगरी काशी में आस्थावानों का जन सैलाब उमड़ पड़ा है, मंदिर के चारो द्वार से प्रवेश के लिए कई किलोमीटर की लाइनों में भक्त घण्टो इंतजार करने के बाद बाबा का दर्शन कर अपने गन्तव्य को लौट रहे है । वही महाशिवरात्रि में श्री काशी विश्वनाथ धाम में सम्भावना जताई जा रही है कि इस बार सारे रिकॉर्ड तोड़ते हुए भक्त भोलेनाथ की नगरी में मौजूद रहेंगे, महाकुंभ के बाद परम्परा के अनुसार नागा साधु भी गंगा स्नान के बाद श्री काशी विश्वनाथ मंदिर में जलाभिषेक करते है जिसे देखते हुए एक तरफ जहां सुरक्षा के लिहाज से पुलिस ड्रोन से निगरानी कर रही है वही सभी को सुगम दर्शन उपलब्ध कराने के लिए बैरिकेडिंग से भी मंदिर में प्रवेश दिया जा रहा है।
ड्रोन कैमरे में कैद यह तस्वीर वाराणसी के दशाश्वमेध घाट, घाट की ओर जाने वाले रास्ते और बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए सड़कों पर उमड़े आस्थावानों के जन सैलाब की है। महाकुंभ का पर्व अपने अंतिम चरण यानी महाशिवरात्रि के करीब पहुँच चुका है। महाशिवरात्रि के पर्व पर इस बार श्री काशी विश्वनाथ धाम अपने सारे रिकार्ड तोड़ देगा ऐसी सम्भवना जताई जा रही है, दरसअल 12 वर्षो के बाद हर महाकुंभ के अंतिम अमृत स्नान के लिए सभी अखाड़ो के नागा साधु, पीठाधीश्वर, महामंडलेश्वर महादेव की नगरी काशी में गंगा स्नान पर पेशवाई जुलूस के साथ श्री काशी विश्वनाथ धाम में जलाभिषेक करने अपने कुल देवता के साथ मंदिर आते है, वही दूसरी तरफ 144 साल के बाद इस महाकुंभ में साक्षी बनने ले लिए करोड़ो की संख्या में लोग प्रयागराज आये जिसे देखते हुए मंदिर के सीईओ विश्वभूषण मिश्रा ने बताया कि महाशिवरात्रि पर्व की शुरुआत गणेश पूजन से शुरू हो गयी है और इस बार बाबा के भक्त अब तक के सारे रिकार्ड तोड़ महादेव का अभिषेक करेंगे, इसके साथ ही अपील भी जारी की गई कि भीड़ अधिक होने के कारण अस्वस्थ लोग और बुजुर्ग ऑनलाइन बाबा का दर्शन करे तो वही काशी जोन के डीसीपी गौरव बंसवाल ने बताया कि महाकुंभ के अंतिम चरण में आने के कारण वर्तमान में काशी के भक्तो की भी भीड़ अधिक हो गयी है सभी को गंगा स्नान से लेकर धाम में सुगम दर्शन के लिए सभी प्रवेश मार्ग पर बैरिकेडिंग से अंदर भेजा जा रहा है साथ ही सुरक्षा के लिहाज से ड्रोन से गंगा घाट से लेकर मंदिर तक निगरानी की जा रही है ।