उ० प्र० प्रधानाचार्य परिषद के प्रयोशय सम्मेलन तथा शैक्षिक संगोष्ठी में विभिन्न जिलों से आए लोगो ने लिए भाग

उत्तर प्रदेश प्रधानाचार्य परिषद का प्रदेशीय सम्मेलन तथा राष्ट्रीय शिक्षा नीति पर शैक्षिक संगोष्ठी महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के गांधी अध्ययन पीठ सभागार में सम्पन्न हुआ। सम्मेलन का उदघाटन मुख्य अतिथि अशोक गांगुली, पूर्व निदेशक, सी0बी0एस0ई0 ने दीप प्रज्ज्वलन तथा माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण कर किया। अतिथियों का स्वागत उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के पूर्व सदस्य तथा सनातन धर्म इंटर कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ0 हरेन्द्र कुमार राय ने किया। विषय प्रवर्तन संयुक्त शिक्षा निदेशक, वाराणसी मण्डल राम शरण सिंह ने किया। 

उन्होने कहा कि शिक्षा का वही मॉडल सफल होता है जिसमें प्राचीनता और आधुनिकता का संगम हो । राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 इसी पर आधारित है। उन्होंने शैक्षिक संगोष्ठी के विषय 'राष्ट्रीय शिक्षा नीति/नेशनल क्यूरीकुलम फ्रेमवर्क के अंतर्गत माध्यमिक शिक्षा की रणनीति पर विस्तृत चर्चा की। इस सम्मेलन में लगभग सभी जिलों से प्रधानाचार्य उपस्थित हुए। संगोष्ठी के मुख्य अतिथि सी0बी0एस0ई0 के पूर्व निदेशक तथा नई शिक्षा नीति 2020 के निर्माण में प्रमुख भूमिका निभाने वाले अशोक गांगुली ने नई शिक्षा नीति 2020 में माध्यमिक शिक्षा पर विस्तार से प्रकाश डाला। प्रदेश के विभिन्न जिलों से आए हुए प्रधानाचार्यों ने विद्यालयों को, अध्यापकों सहित, नई शिक्षा नीति 2020 के लिए तैयार करने की बारीकियाँ सीखी। सम्मेलन की अध्यक्षता उत्तर प्रदेश प्रधानाचार्य परिषद के प्रदेश अध्यक्ष डॉ वीरेंद्र प्रताप सिंह ने की। संचालन प्रदेश महामंत्री सुखपाल सिंह तोमर तथा धन्यवाद ज्ञापन डॉ चारुचन्द्र राम त्रिपाठी ने किया। सम्मेलन में उत्तर प्रदेश प्रधानाचार्य परिषद के संरक्षक देवकृष्ण शर्मा, रविशंकर तिवारी, इंद्र भूषण सिंह पटेल, डॉ धर्मेंद्र कुमार मिश्रा आदि उपस्थित लोगों ने भी अपने विचार प्रस्तुत किए।

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