नागरी नाटक मंडली के ट्रस्ट क्लब सभागार में प्रोफेसर रचना शर्मा की कविता संग्रह मेरे फूल मेरी टहनियां के लोकार्पण समारोह का आयोजन किया गया।
इस अवसर पर अध्यक्ष पद पर डॉक्टर मुक्ता ने कहा की रचना शर्मा की कविताएं उजालों की अभ्यर्थना का संगीत है संघर्ष से विकल मन में चट्टान सा संकल्प लिए यह कविताएं निरंतर गति की ओर अग्रसर होने का संदेश दे रही है। अपने समय की विसंगतियों को बखूबी के रही है ।
वही सार्वजनिक वक्त स्वामी ओमा द अक ने रचना शर्मा की कविताओं से छानकर पूरी स्त्री जाति की वेदना को स्त्री संवेदना का पर्याय कहा उन्होंने रचना शर्मा की कविताओं को समूचे स्त्री संसार की आवाज बताया उन्होंने मेरे फुल मेरी टहनियां शीर्षक कविता का पाठ करते हुए उसे प्रकृति की पुकार बताया इस अवसर पर काशी हिंदू विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग के अध्यापक डॉक्टर अशोक कुमार ज्योति ने भी अपने विचार रखें बतौर विशिष्ट अतिथि डॉक्टर भावना शेखर ने भी विचार रखें। इस अवसर पर आलोचक और भाषा विद डॉक्टर ओम निश्चल प्रोफेसर सुधा पांडे दिनेश चंद्र डॉ श्रद्धानंद सहित कई लोगों उपस्थित रहे।