केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री के औचक निरीक्षण की भनक से स्वास्थ्य महकमा सतर्क

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की जनसभा में आए केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री प्रोफेसर एसपी बघेल ने BHU अस्पताल का निरीक्षण किया। केंद्र सरकार के निर्देश पर अस्पताल में आए मरीजों से बातचीत की। उनकी बातें सुनी और समस्याओं को जाना। इमरजेंसी, OPD और जनरल वार्ड का निरीक्षण करते हुए केंद्रीय मंत्री बघेल ने साफ-सफाई, मौसमी बीमारियों और त्वरित इलाज की बात कही।उन्होंने कहा कि बेड खाली है तो उस पर इलाज किया जाए। यदि बेड नहीं हैं, तो बेड बढ़ाए। कार्डियोलॉजी विभाग में खाली पड़े बेड को लेकर भी वहां मौजूद डॉक्टरों को लताड़ा। IMS-BHU के निदेशक प्रो. एसके सिंह से कहा कि बेड होने के बावजूद क्यों नहीं इलाज किया जा रहा है। बेड होने के बावजूद मरीज क्यों लौट रहे हैं। इस पर अस्पताल प्रशासन ने कहा कि बेड दूसरे जरूरी मरीजों को दिया गया है। बेड को लेकर शासन काे पत्र लिखा जाएगा।

वही काशी हिंदू विश्वविद्यालय के सर सुंदरलाल चिकित्सालय अस्पताल के कार्डियोलॉजिस्ट प्रो. ओमशंकर ने  अस्पताल के मेडिकल सुप्रीटेंडेंट पर कई गंभीर आरोप लगाए है और उन्होंने बीएचयू प्रशासन को 3 माह की मोहलत दी है। की जिन मरीजों के बेड पर निदेशक और चिकित्सा अधीक्षक ने ताला लगा कर रखा है उसे तत्काल मरीज को दिया जाए अगर मरीजों को बैठ उपलब्ध नहीं कराया गया तो प्रोफेसर डॉक्टर ओम शंकर बड़े आंदोलन के लिए बाध्य होंगे जिसकी पूरी जिम्मेदारी निदेशक और चिकित्सा अधीक्षक की होगी । 

उन्होंने कहा कि पिछले एक साल में 21 हजार से ज्यादा हार्ट पेशेंट को BHU में बेड नहीं मिला। जबकि, यहां पर बेड की कोई कमी नहीं है। इनमें से कई रोगियों की बेड की उपलब्धता न होने से जानें भी गईं। यह एक अपराध है। उन्होंने कहा कि आप लोग करते करते हैं गैरों के कारण मौत के गाल में समा जा रहे हैं उनका कि जब मैंने निदेशक से यह कहा कि बैठ न मिलने के कारण यहां पर मरीज मर रहे हैं तो उन्होंने कहा कि मरने दीजिए उससे हमें कोई फर्क नहीं पड़ता ऐसे प्रतिष्ठित पदों होने के बाद इस तरह का बयान बेहद शर्मनाक है।

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