काशी का लक्खा मेला रथ यात्रा का मेला मंगलवार को सकुशल संपन्न हो गया। मेले के अंतिम दिन भक्तों का अपार जन सैलाब देखने को मिला। देर रात तक मेरा परिक्षेत्र गुलजार रहा। मेले के अंतिम दिन प्रभु का रथ को खींच कर लगभग रथ यात्रा चौराहे पर लाया गया। एैसे मे चौराहे से ही प्रभु के साक्षात दर्शन हुए। मेले के तीसरे दिन की शुरुआत मंगला आरती के साथ हुई। इसके पश्चात प्रभु जगन्नाथ भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा को पारंपरिक भोजन, मिठाईयों और फलों का भोग अर्पित किया गया।
लोगो ने श्वेत वस्त्र और सुगंधित पुष्पों से सुसज्जित बाबा की मनोहारी झांकी का दर्शन किया और उनका आशीर्वाद लिया। भक्तों ने विशेष तौर पर नानखटाई और तुलसी की माला प्रभु को अर्पित की। सुगम व्यवस्था के लिए सामाजिक संगठन के लोग तत्पर रहे। क्षेत्र में भारी फोर्स भी तैनात रही और स्वयं सेवकों का भी सहयोग रहा। इस दौरान मेले में लगे खाने पीने के विभिन्न स्टॉल, खिलौने की दुकानों और नान खटाई की दुकानों पर लोगों की खूब भीड़ देखने को मिली।