बाल विद्यालय माध्यमिक स्कूल, डोमरी, पड़ाव, वाराणसी में हिन्दी दिवस बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। सर्वप्रथम विद्यालय के निदेशक मुकुल पाण्डेय, प्रधानाचार्या नीता त्रिपाठी एवं वरिष्ठ शिक्षक, शिक्षिकाओं ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्जलित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया। कार्यक्रम में बच्चों ने विभिन्न प्रकार का गीत-संगीत, नृत्य, भाषण, कविता तथा नाटक का मंचन किया।
विद्यालय के निदेशक मुकुल पाण्डेय ने अपने वक्तव्य में कहा कि हिन्दी हमारी मातृभाषा है यह सभी को जोड़ने का कार्य करती है। हिन्दी साहित्य से जुड़े सभी साहित्यकार तथा कवियों ने इसको सर्वोपरि बनाने के लिए अथक प्रयास किया है। हमें उन लेखकों, साहित्यकारों, कवियों तथा नाट्यकारों के योगदान को कभी भी नहीं भूलना चाहिए। मुंशी प्रेमचन्द, भारतेन्दु हरिश्चन्द्र, महादेवी वर्मा, जयशंकर प्रसाद, दिनकर, निराला, आचार्य सीताराम चतुर्वेदी आदि जैसे अनेकों विद्वानों हिन्दी जगत में अपना काफी योगदान दिया। मुकुल पाण्डेय जी ने बच्चों से कहाकि हमें उन विद्वानों से सीख लेनी चाहिए तथा हिन्दी को सर्वोपरि रखना चाहिए।
प्रधानाचार्या नीता त्रिपाठी ने उपस्थित सभी विद्यार्थियों, शिक्षक, शिक्षिकाओं तथा अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित किया।