शारदीय नवरात्र के समापन के साथ ही सोमवार को मां दुर्गा की प्रतिमाओं का विसर्जन विधि-विधान से किया गया। शहर के विभिन्न हिस्सों में उत्तर भारतीय और बंगाली समाज की प्रतिमाओं का विसर्जन शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हुआ। हालांकि, बहराइच में मूर्ति विसर्जन के दौरान हुई हिंसा को देखते हुए वाराणसी पुलिस अलर्ट मोड पर रही। खासतौर पर मुस्लिम बाहुल्य इलाकों से प्रतिमा विसर्जन के दौरान अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की गई। गोल्डन स्पोर्टिंग क्लब की प्रतिमा विसर्जन के लिए विशेष सुरक्षा इंतजाम रहे ।
गोल्डन स्पोर्टिंग क्लब की 15 फीट ऊंची मां आदिशक्ति की प्रतिमा का विसर्जन सोमवार को किया गया। यह प्रतिमा मुस्लिम बहुल इलाके से होकर गुजरती है, इसलिए पुलिस ने विशेष सतर्कता बरती। डीसीपी काशी जोन, गौरव बंसवाल ने बताया कि क्षेत्र में शांति बनाए रखने के लिए 200 से अधिक अतिरिक्त पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई थी। एक दिन पूर्व कुछ लोगों द्वारा माहौल बिगाड़ने की कोशिश के बाद सुरक्षा को और मजबूत किया गया। पुलिस की मुस्तैदी के चलते प्रतिमा का विसर्जन शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हुआ। पांच फीट चौड़ी गली से होकर प्रतिमा को निकाला गया, जहां पुलिस बल पूरी तरह सतर्क था।
सोमवार की सुबह 8 बजे से ही शहर के विभिन्न इलाकों में छोटी प्रतिमाओं का विसर्जन शुरू हो गया था।
विसर्जन के दौरान श्रद्धालुओं में मिलाजुला भाव देखने को मिला। जहां एक तरफ लोग मां दुर्गा की विदाई से भावुक थे, वहीं दूसरी तरफ यह उम्मीद भी थी कि अगले वर्ष माता पुनः आएंगी। विसर्जन के दौरान लोग ढोल-नगाड़ों और जयकारों के साथ माता की विदाई कर रहे थे। पूरे वाराणसी में विसर्जन के दौरान भक्तों की भारी भीड़ उमड़ी और सभी स्थानों पर भक्तिभाव का माहौल रहा।